
ब्यूरो रिपोर्ट समाचार भारती-
आज हमारे देश में बढ़ती बेरोजगारी की वजह से युवा परेशानी में नजर आ रहे हैं। ऐसे में युवाओं को रोजगार नहीं मिल रहा है इसलिए युवाओं की नाराजगी का सामना सरकार को करना पड़ता है। युवाओं की नाराजगी देखते हुए केंद्र सरकार ने प्राइवेट नौकरी करने वालों के लिए खुशखबरी दी है। लेकिन दूसरी बात यह भी हो सकती है कि, वर्ष 2019 में लोकसभा चुनाव नजदीक है इसे देखकर भी सरकार ने यह फैसला लिया होगा। फिलहाल हमारे देश में सरकारी नौकरी की भी काफी कमी है।
ऐसे में सरकार ने प्राइवेट नौकरी करने वालों के लिए इस तरह की घोषणा करके उन्हें खुश कर दिया है। क्योंकि यह बात तो आप सब जानते हैं कि प्राइवेट नौकरी करने वालों के लिए कंपनियों में किसी भी प्रकार की सुविधा नहीं होती है। दूसरी और प्राइवेट नौकरी करने वालों के कोई परमानेंट नौकरी भी नहीं होती है। उन्हें कभी भी निकाल दिया जाता है।
इन सब चीजों का ख्याल रखकर मोदी सरकार ने प्राइवेट नौकरी करने वालों के लिए बड़ी राहत पहुंचाई है। उन्होंने प्राइवेट कंपनियों के लिए 2 नए नियम जारी किए हैं। अब कंपनियों को दोनों नियमों का ख्याल रखकर ही काम करना होगा। सरकार का पहला नियम है कि, प्राइवेट नौकरी करने वाले युवाओं के लिए प्राइवेट कंपनियों को अपने कर्मचारियों को सुरक्षा देनी होगी। स्वास्थ्य और काम करने की स्थिति को लेकर एक ड्रॉप कोड तैयार करना होगा। एस्ट्रोपोर्ट में प्रावधान किया गया है कि, कम से कम 10 कर्मचारियों वाली कंपनी, फैक्ट्री अथवा संस्था सभी पर ड्रॉप कोड नियम लागू होगा।