मथुरा में मां यमुना का चुनरी महोत्सव और 84 कोस परिक्रमा धूमधाम से मनाया गया।

By | February 23, 2024

(रिपोर्ट-मोनिका दुबे )

मथुरा.  मथुरा के वृंदावन में मां यमुना का चुनरी महोत्सव धूमधाम से मनाया गया। इस अवसर पर, भक्तों ने यमुना जी को चुनरी अर्पित की और उनकी आरती उतारी।84 कोस परिक्रमा भी शुरू हुई, जो 11 दिनों तक चलेगी। यह परिक्रमा मथुरा-वृंदावन के पानी गांव स्थित जानकी घाट से शुरू हुई। यह परिक्रमा वृंदावन, मथुरा, गोकुल, गोवर्धन, नंदगांव, बरसाना सहित ब्रज 84 कोस के सभी धार्मिक स्थानों से होकर गुजरेगी। इस परिक्रमा में लगभग 100 लोग भाग ले रहे हैं। यह धार्मिक यात्रा 11 दिनों तक चलेगी और परिक्रमावासी विभिन्न धार्मिक स्थलों पर दर्शन करेंगे। यह आयोजन श्रीहरि वर्षा कौशल द्वारा कराया जा रहा है। यह पहली बार है जब यह आयोजन किया जा रहा है। इस आयोजन का उद्देश्य मां यमुना के प्रति भक्ति और श्रद्धा व्यक्त करना और ब्रज क्षेत्र के धार्मिक महत्व को बढ़ावा देना है।यह एक महत्वपूर्ण धार्मिक आयोजन है जो भक्तों को आकर्षित करता है और ब्रज क्षेत्र की धार्मिक और सांस्कृतिक विरासत को दर्शाता है।

84 कोस परिक्रमा एक धार्मिक यात्रा है जो मथुरा-वृंदावन के आसपास के 84 कोस (लगभग 280 किलोमीटर) क्षेत्र में स्थित धार्मिक स्थलों से होकर गुजरती है।यह यात्रा 11 दिनों तक चलती है और परिक्रमावासी विभिन्न धार्मिक स्थलों पर दर्शन करते हैं। यह यात्रा भगवान कृष्ण के जीवन से जुड़े विभिन्न स्थानों से होकर गुजरती है। यह यात्रा भक्तों को भगवान कृष्ण के जीवन और शिक्षाओं से जुड़ने का अवसर प्रदान करती है। यह यात्रा भक्तों के लिए एक आध्यात्मिक अनुभव है। चुनरी महोत्सव एक धार्मिक त्योहार है जो मां यमुना के प्रति भक्ति और श्रद्धा व्यक्त करने के लिए मनाया जाता है। इस त्योहार के दौरान, भक्त मां यमुना को चुनरी अर्पित करते हैं और उनकी आरती उतारते हैं। यह त्योहार मां यमुना के जन्मदिन के अवसर पर मनाया जाता है। यह त्योहार मथुरा-वृंदावन और ब्रज क्षेत्र के अन्य स्थानों पर मनाया जाता है। यह त्योहार भक्तों को मां यमुना के प्रति अपनी भक्ति और श्रद्धा व्यक्त करने का अवसर प्रदान करता है। मथुरा-वृंदावन में मां यमुना का चुनरी महोत्सव और 84 कोस परिक्रमा महत्वपूर्ण धार्मिक आयोजन हैं जो भक्तों को आकर्षित करते हैं और ब्रज क्षेत्र की धार्मिक और सांस्कृतिक विरासत को दर्शाते हैं।