गायब हिमांशु की बीकेटी थाना अंतर्गत बसहरी घाट में मिली डेड बॉडी, क्षेत्र में मचा हड़कंप। 

By | January 8, 2024

(ब्यूरो-रिपोर्ट, समाचार भारती)

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अपराधियों पर लगाम लग रहे हैं, अपराधियों के घरों पर बुलडोजर चला रहे हैं अपराधियों को जेल भेज रहे हैं। वहीं दूसरी तरफ अपराध थमने का नाम नहीं ले रहा है। लखनऊ में कई जगहों पर आए दिन हत्या लूट डकैती जैसे बड़ी घटनाएं होते रहती हैं।  माल थाने के अंतर्गत बहला फुसला कर ले गए एक युवक की हत्या कर दी गई। देखना यह है कब तक  हत्यारे जाएंगे  जेल। पीड़ित परिवार परेशान, कमाने वाला एकलौता बेटा था हिमांशु।

माल थाना के अंतर्गत नारू गाँगन गांव में पुरानी रंजिश के चलते 5/1/2024 हिमांशु अपने घर से माल गया था।  मॉल में देसी शराब के ठेका के पास हिमांशु को वहां पर वीरपाल यादव पुत्र रामशंकर यादव हिमांशु को अपनी बोलोरो गाड़ी में बैठा कर कहीं ले गए। जिसकी सूचना हिमांशु के परिवार को नहीं थी और वो हिमांशु को रात भार ढूंढते रहे लेकिन हिमांशु का कोई पता नहीं चला।

हिमांशु के घर के लोगो ने थाना माल मैं 6/1/2024 को सुबह तहरीर दी। शाम 4:00 बजे हिमांशु के परिवार को जानकारी मिलती है की एक डेड बॉडी मिली है, गांव के कुछ लोगों ने बॉडी की पहचान कर पुलिस को सुचना दी। पुलिस ने बॉडी को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया हैं।  मृतक हिमांशु अपने पूरे परिवार में अकेला ही सदस्य था, जो मजदूरी करके अपनी बीवी , बच्चों एवं पूरे परिवार को देखभाल करता था।

माँ रामरती ने हिमांशु के दोस्त व उसके साथियों पर हत्या कर शव को नदी में फेंकने का आरोप लगाया है। उनका आरोप है कि बेटे के दोस्त का एक महिला से अवैध संबंध था। हिमांशु इसका विरोध करता था। इसी के चलते उसकी हत्या की गई है। हिमांशु के परिवार में मां रामरती, पत्नी खुशबू, बेटा अर्पित, सूर्यांश व बेटी रखी है।

पीड़ित परिवार ने थाना माल पुलिस पर गंभीर आरोप लगाते हुए बताया की पुलिस से गुहार लगाने के बावजूद भी नहीं हुई किसी प्रकार की कौइ सुनवाई और उल्टा पीड़ित को थाने से भगाया दिया गया।  पीड़ित परिवार का आरोप है की थाना माल पुलिस ने पीड़ित से कहा की आप स्वयं हिमांशु का पता लगाइए, पीड़ित ने आरोप लगाते हुए कहा की समय रहते अगर पुलिस सही समय पर कार्रवाई करती तो आज मेरा बेटा जीवित होता, इस लापरवाही की जिम्मेदार माल थाना पुलिस है। पीड़ित परिवार का कहना है कि हमको न्याय चाहिए, जो दोषी हैं उनको सख्त से सख्त सजा मिलनी चाहिए।

पीड़ित परिवार ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से गुहार लगाई की, मुकदमा न दर्ज होने पर अपराधियों पर कार्रवाई ना होने पर पीड़ित परिवार कर सकता है आत्महत्या। अब देखना यह है की अधिकारी इस गंभीर अपराध को संज्ञान में लेते हैं कि नहीं और अपराधियों पर कार्रवाई कब तक होती है।